बीकानेर hellobikaner.com जिला कलक्टर नमित मेहता ने कहा कि कोविड-19 के गंभीर संक्रमित रोगी को आईसीयू में रखा जावे। साथ ही यह भी सुनिश्चित किया जाए कि यहां इलाज ले रहे सभी रोगियों का वरिष्ठ चिकित्सकों द्वारा नियमित स्वास्थ्य का परीक्षण किया जाए।
जिला कलक्टर मेहता सोमवार को कोविड-19 प्रबंधन की बैठक में संक्रमण की समीक्षा की और कहा कि सुपर स्पेशलिटी हॉस्पिटल में वर्तमान में जो 130 मरीज भर्ती हैं, इनमें से जिन्हें आईसीयू की जरूरत है, उनका वरिष्ठ चिकित्सक से स्वास्थ्य परीक्षण करवाकर आईसीयू में शिफ्ट किया जाये। रोगी को सभी सुपर स्पेशलिटी की सेवाएं मिले। इलाज के अभाव में अथवा चिकित्सक की परामर्श की कमी के कारण स्वास्थ्य में गिरावट नहीं आए, यह हमारी प्रथम प्राथमिकता में होना चाहिए। पीबीएम अस्पताल इलाज मामले में एक विशिष्ट पहचान रखता हैं और हमें अपनी इस पहचान को बरकरार रखना है।
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उन्होंने कहा कि कोविड-19 अस्पताल सहित जितने भी कोविड केयर सेंटर बने हुए हैं उन सभी में साफ-सफाई की व्यवस्था और बेहतर की जाए। कोविड सेन्टर में भोजन भेजने में इस बात का ध्यान रखा जाए कि भोजन बनने के समय और कोविड-19 सेंटर तक पहुंचने के बीच अधिक समय न लगे।
मेहता ने कहा कि वर्तमान में नगर निगम और चिकित्सा स्वास्थ्य विभाग द्वारा शहर के विभिन्न क्षेत्रों में जो हाइड्रो क्लोरीन का छिड़काव किया जा रहा है, उसे और गति दी जाए। नगर निगम 10 अतिरिक्त ट्रैक्टर सोमवार से ही लगा ले। ट्रैक्टर के लिए उप निदेशक (कृषि विस्तार) विभाग से बातचीत कर प्राप्त करें और दवा के छिड़काव कार्य को और तेजी के साथ करते हुए आगामी 2 दिनों में पूरे शहर को कवर कर किया जाए।
जिला कलक्टर नमित मेहता ने आमजन से अपील करते हुए कहा कि वह अपने घरों को साफ-सुथरा रखे। घर के दरवाजे, आंगन और अन्य वो स्थान जिसे घर में रहने वाले और बाहर से आने वाले टच करते हैं, को निरन्तर सेनेटाईज करते रहे। दवा का छिड़काव करते रहें। आंगन धोते समय पानी में भी दवा डालें ।
जिला कलक्टर ने कहा कि रेलवे स्टेशन पर लगी चिकित्सा स्वास्थ्य विभाग की टीम द्वारा बाहर से आने वाले व्यक्तियों की स्क्रीनिंग की जाती है। टीम इस दौरान यह भी देखें कि अगर कोई यात्री उन्हें सस्पेक्टेड लगता है तो ऐसे यात्रियों के नाम, पता और मोबाइल नंबर आदि की लिस्ट बनाने के बाद उनके घर पहुंचकर, उनका स्वास्थ्य का परीक्षण करते हुए कोरोना जांच के सैम्पल लिए जाए। उन्होंने मुख्य चिकित्सा स्वास्थ्य अधिकारी तथा पीबीएम अस्पताल के अधीक्षक से कहा कि वे ढ़ाई हजार से अधिक सैम्पल की जांच प्रतिदिन आवश्यक रूप से की जाए।